जौनपुर जनपद के सिद्दीकपुर में निर्माणाधीन उमानाथ सिंह स्वशासी चिकित्सा महाविद्यालय में भवन निर्माण का काम पूरा नहीं हो पाने के कारण एमबीबीएस द्वितीय वर्ष की कक्षाओं के संचालन पर खतरा मंडरा है। मेडिकल कॉलेज के एकेडमिक बिल्डिंग में द्वितीय वर्ष के लिए अभी तक कक्षाएं तैयार नहीं हो पाई हैं। इससे अगले माह से होने वाली काउंसलिंग के बाद एडमिशन प्रक्रिया रुक सकती है।
बताते चले कि नीट परीक्षा के बाद उमानाथ सिंह मेडिकल कॉलेज में काउंसलिंग प्रक्रिया पूरी होने के बाद दाखिला शुरू हो जाएगा। दाखिला को लेकर मेडिकल कॉलेज प्रशासन बहुत ही चिंतित है। क्योंकि अभी तक द्वितीय वर्ष के लिए एकेडमिक भवन में बनने वाली चौथी, पांचवी और छठी मंजिल पर छत ही नहीं डाली जा सकी है। जबकि पूरी बिल्डिंग को सितंबर 2022 तक पूरा करके हैंडओवर करना है। जो पूर्ण रूप से असंभव दिख रहा है।
एमबीबीएस द्वितीय वर्ष के लिए फार्मोकोलॉजी, पैथोलॉजी और माइक्रोबायोलॉजी के लिए भवनों का निर्माण होना बहुत जरूरी है। एनएमसी के निरीक्षण के दौरान अगर खामियां में मिलती हैं तो एमबीबीएस द्वितीय वर्ष की कक्षाएं संचालित करना संभव नहीं होगा। जबकि एमबीबीएस प्रथम वर्ष की कक्षाएं संचालित करने के लिए अभी तक पूरी तरीके से बिल्डिंग को तैयार नहीं किया गया है।
छात्रावास की समस्या भी अभी तक बिल्डिंगों के कारण हल नहीं हो पाई है। अभी भी 36 छात्राओं को पुरुष छात्रावास में रखा गया है। अभी तक छात्रावास में एमबीबीएस के छात्रों को रखा गया है। वह पूरी तरीके से पूर्ण नहीं है। न तो वहां पर पंखे की व्यवस्था की गई है और न ही वहां पर बिजली की सप्लाई मिल रही है।
प्रधानाचार्य शिव कुमार ने बताया की बिल्डिंगों का निर्माण कार्य समय से पूरा नहीं होगा तो कक्षाएं संचालित करने में समस्या का सामना करना पड़ेगा। इसकी शिकायत उच्च अधिकारियों से की गई थी, लेकिन अभी तक निर्माण कार्य पूरा नहीं हो सका है। जबकि मेडिकल कॉलेज के लिए सदर एसडीएम सदर को नोडल अधिकारी के तौर पर नियुक्त किया गया है।